Page 68 - Sanidhya 2024
P. 68
हीरिरायाालाी �ीज केी माहीत्ताा
हैमुा�ा दश त्यंंहैा�ंं �ा दश है जाहैा प� सभाी त्यंंहैा� बड़ीी पनकिमुलन � उपलक्ष् मु मुनायाा जााता है।
ै
ं
ि
े
े
ु
ै
ं
े
े
े
ं
े
ू
े
ं
ु
धैमुधैामु , खशी औ� उमुगी � साथा मुनाए जाात है। तीजा �ं हैरि�यााली चा�ंं ओं� हैरि�यााली हैंन � �ा�ण इस े
ू
ं
ं
ै
े
े
े
ं
तीजा याा �जाली तीजा � नामु स भाी जााना जााता है। किहैद पचागी � हैरि�यााली तीजा �हैत है। इस अवास� प�
ं
े
ु
ि
ं
ु
ं
े
ृ
अनसा� तीजा �ा पवा सावान मुास � शक्लपक्षे �ी ततीयाा कितकिथा �ं मुकिहैलाए झेूला झेूलती है, लं�-गीीत गीाती
ु
ं
ै
ै
ं
े
ु
मुनायाा जााता है। इस किदन सहैाकिगीन मुकिहैलाए पकित �ी लबी आया � है औ� आनद मुनाती है। ै
ं
ै
ि
ं
किलए व्रत �खती है। �ामुायाण वा मुहैाभाा�त �ाल मु भाी इस पवा �ा सनातन धैमु मु है�ा �गी सख,
ं
ि
ु
ं
ि
ै
े
उल्लीख किमुलता है। �हैा जााता है कि� मुाता पावाती न भागीवाान किशवा शाकित, हैरि�यााली, त�क्काी औ� अच्छी श्रीीमती पु�म निसाह,
े
ै
ं
ु
ं
े
े
�ी प्राल्किप्त � किलए इस व्रत �ं कि�याा थाा, किजासस प्रसन्न हैं�� भागीवाान सहैत �ा प्रती� मुाना जााता है, पत्नीी �ी सजाया �मुा� किसहै,उप मुहैाकिन�ीक्षे�
ं
ु
ं
े
ै
ग्रीप �न्द् �रि�पबल, सबलप�
ं
े
ि
े
भांलनाथा न मुा पावाती �ं पत्नीी � रूप मु स्वाी�ा� कि�याा थाा। इसकिलए हैरि�यााली तीजा प� है� �गी � ु े े ु ं ु
ं
े
े
े
ं
ू
ं
े
ि
े
हैरि�यााली तीजा � किदन पजाा अचना � दौ�ान मु� जााप ��ना बहुत �पड़ी पहैनन �ी प�प�ा है, जां कि�
े
े
ै
ं
ु
ै
शभा मुाना जााता है। याहै उत्सावा मुकिहैलाओंं �ा उत्सावा है। सावान मु ं लब समुया स चली आ �हैी है। ै
ै
ं
े
े
ृ
जाब सम्पण प्र�कित है�ी ओंढ़ानी स आच्छाकिदत हैंती है उस अवास�
ू
ै
ि
े
े
ं
ृ
े
ृ
े
प� मुकिहैलाओंं � मुन मुया� नत्यं ��न लगीत है। वाक्षे �ी शाखाओंं मु ं इस उत्सावा मु �वाा�ी �न्याओंं स ल�� किवावााकिहैत यावाा औ�
ू
ु
े
े
ु
ं
ं
े
झेूल पड़ी जाात है। आस्थाा, उमुगी, सौंदया औ� प्रमु �ा याहै उत्सावा वाद्धा मुकिहैलाए सल्किम्माकिलत हैंती है। नवा-किवावााकिहैत यावाकितयांं � प्रथामु
ं
ि
े
ं
े
ं
ु
े
ृ
ै
े
किशवा-पावाती � सावान मु मुाया� आ�� इस हैरि�यााली तीजा मु सल्किम्माकिलत हैंन �ी
ि
े
े
ं
ं
े
ृं
ु
प�प�ा है। हैरि�यााली तीजा � किदन सहैागीन ल्किस्त्याा है� �गी �ा �गीा�
ं
े
ं
ै
ं
े
��ती है। इस� पीछु धैाकिमु� �ा�ण � साथा हैी वाज्ञााकिन� �ा�ण भाी
ै
ि
े
ै
े
ु
है। मुहैदी सहैागी �ा प्रती� किचन्हे मुाना जााता है। इसकिलए मुकिहैलाए
ै
ं
ै
ं
ृ
सहैागी पवा मु मुहैदी अवाश्य लगीाती है। इस�ी शीतल प्र�कित प्रमु
ु
ं
ै
ं
ि
े
ं
े
ु
औ� उमुगी �ं सतलन प्रदान ��न �ा भाी �ामु ��ती है। हैरि�यााली
ं
ै
ं
तीजा �ा किनयामु है कि� क्रंधै �ं मुन मु नहैीं आन द। मुहैदी �ा
ं
े
ं
ै
ं
ै
औ�धैीया गीण इसमु मुकिहैलाओंं �ी सहैायाता ��ता है। इस व्रत मु ं
ु
े
ू
सास औ� बड़ी, नई दल्हन �ं वास्त्, है�ी चकिड़ीयाा , �गीा� सामुग्रीी औ�
ृं
ु
ं
ं
े
ु
ं
ै
किमुठााइयाा भाटी ��त है। इस�ा उद्देश्य हैंता है, दल्हन �ा �गीा�,
े
ं
ृं
ृ
सहैागी सदा बना �है औ� वाश �ी वाल्किद्धा हैं।
ं
े
ु
ै
ि
ै
�हैा जााता है कि� इस किदन मुाता पावाती स�ड़ींं वा�ं �ी
े
साधैना � प�ात भागीवाान किशवा स किमुली थाी। याहै भाी �हैा जााता है कि�
े
ै
े
ं
े
े
ि
मुाता पावाती न भागीवाान किशवा �ं पकित रूप मु पान � किलए 107 बा�
जान्मु किलयाा किफ� भाी मुाता �ं पकित � रूप मु किशवा प्राप्त न हैं स�।
ं
े
े
ि
े
108 वाीं बा� मुाता पावाती न जाब जान्मु किलयाा तब �ावाण मुास �ी
ं
े
ृ
ु
शक्ल पक्षे ततीयाा �ं भागीवाान किशवा पकित रूप मु प्राप्त हैं स�। तभाी
ं
ु
े
स इस व्रत �ा प्रा�म्भ हुआ। इस अवास� प� जां सहैागीन मुकिहैलाए
ै
संलहै �गीा� ��� किशवा पावाती �ी पजाा ��ती है उन�ा सहैागी
े
ु
ि
ू
ृं
े
ै
ं
े
े
लबी अवाकिधै त� बना �हैता है। साथा हैी दवाी पावाती � �हैन प�
ि
किशवाजाी न आशीवााद किदयाा थाा कि� जां भाी �वाा�ी �न्या इस व्रत �ं
ि
े
ुं
े
ं
े
�खगीी औ� किशवा पावाती �ी पजाा ��गीी उन� किवावााहै मु आन वााली
े
ू
े
ि
बाधैाए द� हैंंगीी साथा हैी यांग्य वा� �ी प्राल्किप्त हैंगीी। सहैागीन ल्किस्त्यांं
ू
ु
ं
े
े
�ं इस व्रत स सौभााग्य �ी प्राल्किप्त हैंगीी औ� लब समुया त� पकित �
े
ं
ु
ै
े
ुं
साथा वावााकिहै� जाीवान �ा सख प्राप्त ��गीी। इसकिलए �वाा�ी औ�
ु
सहैागीन दंनंं हैी इस व्रत �ं �खती है।
ै
68