Page 123 - Sanidhya_2024
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ठर्ड केी तिवाभुीति�केा
सदेी आई- सदेी आई, सदे �वाा सग � लाई
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गम कापड़, काबल गरामाई, मनाभावाना लग राजीाई
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�प काा नाा नाामोहिनाशुाना, कााली बदेराी आसमा परा छूाई
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ठाडो ना कासी का�रा बरापाई, सदेी आई- सदेी आई |
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�ाय, काॉफ़ेी काी लत � बढ़ाई
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टेोपी, मोजीा, स्वीटेरा, जीकाटे, �ीटेरा, वाामरा काी हिडोमाडो बढ़ाई ,
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पौर्ष काी सदेी देखदेाई, ठाडो काी हिवाभीहिर्षकाा लाई सिंन�ीक्षाका/�ीडोी �याा कामा�ी
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घनाा काो�राा, कापकापी छूटेाई, बा�रा जीानाा, ग्रुप काद्री, अगरातला
कााम काछू कारानाा �ो गई अब तो बड़ी काहिठानााई
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शुीत ल�रा ठाडोी बढ़ाई, सदेी आई-सदेी आई|
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सबरा उठाकारा ड्यूटेी परा जीानाा लाग य� बड़ा देखदेाई
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य सदेी �म परा का�रा बरापाई, कापड़ �ोनाा,
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बतना सफेाई, देखकारा का मना घबरााई,
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सब काछू लाग जीस अलसाई,सदेी आई-सदेी आई|
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बढ़-बड़, बच्चोों काी भी वााकाई अब तो शुामत आई
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हिठाठाराना सबकाो घरा बठााई, थरा-थरा-थरा-थरा कााप तना-मना,
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काटे-काटे-काटे-काटे देात काटेकाटेाई,
घनाा काो�राा हिवाहिजीहिबहिलटेी घटेाई,
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य सदेी �म परा का�रा बरापाई, सदेी आई-सदेी आई||