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शाऊल के अ�ाचार न मसीह-अनयािययों को
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य�शलम से बाहर जान पर मजबूर कर िदया ...
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लिकन वे जहाँ भी जात ह�
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अपनी िन�ा को फला देत ह�।
मुझे वो कागज-पत्र दो,
मुझे इस कारण चािहए
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... िजसस वे ससमाचार को �ात ससार के छोर तक ले जा तािक म� दिम� की
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सक� – िजसक कारण यीश के कहे �ए वचनों को पूरा िकया: यात्रा पर जा सक।
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तुझे उनक मुँह बंद
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... हमन ब�त से यीश ु करन होंग। े
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के अनयािययों को ँ
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य�शलम से बाहर अगर म� वहा उ�� रोक सका,
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िनकाल िदया। तो शायद उनका आदोलन
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उनक साथ ही समा� हो
जाएगा।
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तुम य�शलम,
य�िदया, साम�रया
और पृ�ी के छोर तक
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मरे गवाह ठहरोग। े
दिम�: रोम साम्रा�
के �ापार की ब�तायत
का क� द्र!
शाऊल जानता था िक अगर वह उ� वहा ँ
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नहीं रोकगा, तो “यह �रवाज़” मसोपोटािमया
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म फल सकता था -
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--या यहा तक िक
रोम म भी!
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े प्रे�रतों के काम 1:8
12 12 प्र�रतों के काम 1:8