Page 30 - XIC Class Magazine
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कल सपने में


                    े
                                       ें
               सवेर की इींतज़ार कर,
               बीच म हहलाकर उठाया मुझे |
                       ें

               जागकर दखख तो था लसर् एक सपना....
                           े
                                            य




































































                                                                  -क ृ ष्णा वी भी
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