Page 4 - rural development intro
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सवाननवत्त होकि जीवन ननवाणह कि िह हैं या खती-बाडी से
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जुडे हए हैं।
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दूसिी तिफ बबहाि, उडीसा एवं छत्तीसगढ़ जैस िाज्यों में
अत्यन्त गिीब एवं वपछडे हए गाुँव हैं, जहाुँ लोगों को अपनी
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जीववका चलाने क े मलए अपने बच्चों तक को भी बचना पड
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जाता ह। पयाणविण की प्रनतकलता क े कािण िाजस्थान क े
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कई गाुँव ववलुप्त होने क े कगाि पि हैं। सीमावती गाुँवों में भी
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काफी बदलाव हो िह हैं। हदल्ली में अनेक रिहायशी
कालोननयाुँ पहल गाुँव ही थीं, पिन्तु अब ये शहिी रूप धािण
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कि चुकी हैं। कोहहमा जैस छोट ग्राम भी अब शहिों क े रूप में
परिवनतणत होते जा िह हैं।
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भाितीय ग्राम बहजातीय भी हैं एवं एकजातीय भो। कछ
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ग्राम शहिों क े काफी ननकट हैं जबकक कछ ग्राम दूिदिाज क े
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वपछडे क्षेत्रों में जस्थत हैं। कछ ग्राम जीवन की मूलभूत
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