Page 115 - IC23 life insurance application
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12                          THE   GAZETTE   OF  INDIA : EXTRAORDINARY                   [PART III—SEC. 4]

                                          अ याय IV :   वा  य बीमा पॉिलिसय  का  बंध

              येक जीवन बीमाकता , साधारण बीमाकता  और  वा  य बीमाकता  जैसा लागू हो, िन िलिखत को सुिनि त करेगाः

               26. पॉिलसीधारक  के िहत का संर णः

                      येक  बीमाकृत   ि   को  संबंिधत   दशािनद श  म   ािधकरण   ारा  िविन द    प  म   एक   ाहक  सूचना  प क
                    उपल ध कराया जाएगा।  बीमाकता  आव यक  णािलयाँ, काय िविधयाँ, काया लय और बुिनयादी संरचना  थािपत

                    करेगा ता क 24 घंटे के आधार पर पूव - ािधकरण  का कुशल िनग म तथा दाव  और िशकायत  का  व रत िनपटान
                     कया जा सके।

               27. बीमाकता   ारा दावे का िनपटान/ अ वीकरणः

                    i.    बीमाकता  दावे का िनपटान अथवा अ वीकरण, जैसी ि थित हो, अंितम `आव यक' द तावेज क   ाि  से
                           तीस  दन के अंदर करेगा।

                    ii.   उन मामल  को छोड़कर जहाँ  कसी धोखाधड़ी का संदेह हो, सामा य  प से पॉिलसी क  शत  म  सूचीब
                           न  कया गया कोई भी द तावेज `आव यक' नह  समझा जाएगा।  बीमाकता  यह सुिनि त करेगा  क दाव

                           पर कार वाई के िलए अपेि त सभी द तावेज एक ही बार म  मँगाये जाएँगे तथा द तावेज  क  माँग थोड़ी-
                           थोड़ी करके नह  क  जाएगी।

                    iii.   सूचना जो बीमाकता  ने   ताव को  वीकार करते समय   ताव फाम  म  संगृहीत क  है, पॉिलसी के  अंतग त
                             तािवत शत , पहले के दाव  के  ारा  कट  ए  प म  िच क सा का पूव वृ , य द कोई हो, तथा पूव  के
                           दाव  का अनुभव बीमाकता   ारा इले  ॉिनक अिभलेख के  प म  अनुरि त  कया जाएगा तथा बाद के
                           दावा िनपटान  के समय़ पॉिलसीधारक/ बीमाकृत  ि  से पुनः नह  माँगा जाएगा।


                    iv.   बीमाकता  एक अविध िनधा  रत कर सकता है िजसके अंदर दावा करने के िलए पॉिलसीधारक/ बीमाकृत
                            ि   ारा सभी आव यक दावा द तावेज   तुत  कये जाने चािहए।  तथािप, य द िवलंब के िलए वैध
                           कारण ह  तो ऐसी अविध के  बाद दािखल  कये गये दाव  पर भी िवचार  कया जाना चािहए।

                    v.      येक बीमा दावे का िनपटान पॉिलसी संिवदा क  शत  और दाव  के िनपटान को िनयंि त करने वाले
                           वत मान िविनयम  के  अनुसार  कया जाएगा।   कसी भी दावे को बीमाकता   क  बिहय  म  बंद नह   कया
                           जाएगा।

               28. पॉिलसी द तावेज म   यूनतम  कटीकरणः समय-समय पर यथासंशोिधत आईआरडीए (पॉिलसीधारक  के िहत  का

                    संर ण) िविनयम, 2002 म  िनधा  रत अपे ा  को अित र , पॉिलसी द तावेज म  िन िलिखत िनिहत ह गेः

                    i.  इस िविनयम के अनुसार अपेि त  कटीकरण  क  सूची।

                    ii.  य द दाव  पर कार वाई के िलए अपेि त सभी दावा द तावेज  के साथ दावा   तुित के िलए समय-सीमा  का
                       पालन नह   कया जाता, तो दाव  क    तुित क     या, समय-सीमाएँ और कार वाई का संभािवत  म।

                    iii.  वा  य  बीमा  उ पाद  म     तािवत   कसी  भी  बीमार ा  पर  लागू  उप-सीमाएँ  तथा  उ पाद  म    द   अ य

                       बीमार ा  पर ऐसी उप-सीमा  का  भाव  प   प से सूिचत  कया जाएगा।

                    iv. समय-समय पर यथाआशोिधत आईआरडीए (पॉिलसीधारक  के िहत  का संर ण) िविनयम, 2002 के िविनयम
                       9(6) के  अनुसार पॉिलसी द तावेज म  दंडा मक  याज का  ावधान अिनवाय तः शािमल  कया जाएगा।












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