Page 90 - Microsoft Word - CHETNA MARCH 2020- APRIL 2020 FINAL
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श5श ने उसको अपना सूटके स थमा दया. वह टै=सी म. बैठ©. माग0 म.
थोड़ी देर तक टै=सी के अंदर चुeपी छाई रह%. +फर Ðाइवर ने श5श से कहा +क,
'क ु छ तो यान होगा ह% +क यह आकाश E ं टंग ेस कहाँ पर है?'
'नह%ं, मुझे ऐसा क ु छ भी नह%ं मालुम है.' श5श बोल%.
'आप पहल% बार अल%गढ़ आई ह8?'
'हां.'
'यहाँ पर कौन लोग ह8 आपके ? मेरा मतलब, भाई-बहन, <रXतेदार आ द. . .?'
'मेरा मंगेतर है. उसी के पास जा रह% हँ.'
ू
'कहाँ से आई ह8 ?'
'5शकोहाबाद से.'
'खैर ! कोई बात नह%ं. आप घबराइये मत. म8 पता लगाकर आपको सह% जगह
पर पहंचा दूंगा. यह अल%गढ़ है. इतने बड़े शहर म., बगैर सह% पते के ढ ूंढना
ु
आसान तो नह%ं है.' यह कहते हए उसने टै=सी क1 ग;त बढ़ा द%. टै=सी क1
ु
रÑतार बढ़% तो श5श के दल क1 धड़कन. भी अनायास ह% बढ़ ग. शाम क1
अवvध समािeत पर थी. दूर £-;तज म. सूय0 का गोला लाल पड़ते-पड़ते अपना
दम तोड़ चुका था. रात शुw होने वाल% थी. बढ़ते हए अ#धकार क1 चादर देखते
ु
ह% श5श का दल भी घबराने लगा था. टै=सी लगातार भाग रह% थी.
सहसा ह% टै=सी एक Pथान पर, कई कार क1 ग5लयJ से घूमती-+फरती
हई आकर qक1 तो श5श ने आXचय0 से Ðाइवर को देखा.
ु
'म8 यहाँ, +कसी से पूछ कर आता हँ, आपक1 ेस के बारे म.. यह भी एक E ं टंग
ू
ेस वाले ह8' ऐसा कहते हए Ðाइवर पास म. बने एक गंदे से मकान म. EवGट हो
ु
गया. श5श ने आस-पास देखा. गंद% और वीरान, मनहस सी जगह, चारो तरफ
ू
अंधकार, कह%ं भी ज़रा सा भी काश का नामो-;नशान तक नह%ं था. +फर श5श
के इसी उहापोह म. क ु छेक पल बीते. थोड़ी और देर हई. श5श बैठ© रह%, अके ल%,
ु
क ु छ-क ु छ डर% हई सी. अपने ~बगड़े हये भाय क1 क ु wप तPवीर के समान. जब
ु
ु
क ु छ अvधक देर हो गई तो श5श का माथा ठनका. वह समझने लगी +क कह%ं
क ु छ न क ु छ गड़बड़ जwर है. टै=सी का Ðाइवर अभी तक नह%ं लौटा था. श5श
का दल जोर-जोर से धड़कने लगा.
अभी श5श आगे क1 योजना पर Eवचार कर ह% रह% थी +क, तभी बगल
वाले गंदे मकान का दरवाज़ा खुला. उसम. से एक पुqष ;नकला. उसके पीछे से
Ðाइवर भी आया. उसके साथ आये हए पुqष का डील-डौल देखते ह% श5श का
ु
दल अचानक ह% काँप गया. वह भयभीत हो गई. डर के कारण वह अपने ह%
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